अम्मा मोहे भी पिचकारी चाही कल रात सुखिया की उसके बेवड़े पति ने बहुत पिटाई की थी और वह रोते रोते भूखी ही सो गई ….वह अपने जख्मों को सहलाती हुई बासी रोटी अपने जिगर के टुकड़े लालू को देकर रोज की तरह अपने काम पर निकल गई थी । वह सड़क पर बैठ कर […]
अम्मा मोहे भी पिचकारी चाही
कल रात सुखिया की उसके बेवड़े पति ने बहुत पिटाई की थी और वह रोते रोते भूखी ही सो गई ….वह अपने जख्मों को सहलाती हुई बासी रोटी अपने जिगर के टुकड़े लालू को देकर रोज की तरह अपने काम पर निकल गई थी । वह सड़क पर बैठ कर कुछ फल या सब्जी बेच […]